बरेली। राज्य की मुख्य विपक्षी समाजवादी पार्टी में 2022 विधानसभा चुनाव के लिए टिकटों की दौड़ तेज हो गई है। चुना लड़ने के इच्छुक दावेदार लगातार सामने आ रहे हैं और पार्टी हाईकमान सामने विधिवत टिकट के लिए आवेदन कर रहे हैं। ताजा खबर ये है कि आंवला के पूर्व चेयरमैन सैयद आबिद अली ने बिथरी, पार्टी नेता लक्ष्मणप्रसाद लोधी ने आंवला से सपा प्रदेश कार्यालय लखनऊ में टिकट के लिए आवेदन कर दिया है।
सैयद आबिद अली आंवला को छोड़ बिथरी क्षेत्र से मांग रहे टिकट
आंवला के चेयरमैन रहे एवं समाजवादी अल्पसंख्यक सभा के पूर्व जिलाध्यक्ष सैयद आबिद अली अपना क्षेत्र छोड़ बिथरी के चुनावी समीकरण अपने लिए मुफीद मान रहे हैं। आबिद ने बिथरी विधानसभा क्षेत्र से 2022 के चुनाव लड़ने की इच्छा जताते हुए विधिवत रूप से लखनऊ स्थित पार्टी प्रदेश कार्यालय में टिकट के लिए आवेदन पत्र जमा कर दिया है। आवेदन में आबिद अली ने अपने जन्म की तारीख 15 अगस्त 1978 और शैक्षिक योग्यता हाईस्कूल दर्शाई है। पहले ही बिथरी से मुलायम सिंह यादव यूथ बिग्रेड के नि. राष्ट्रीय महासचिव सूरज यादव टिकट की दावेदारी करते हुए अपना आवेदन पार्टी प्रदेश कार्यालय में जमा कर चुके हैं। हालात देखे हुए लग रहा है कि बिथरी में अभी और भी दावेदार सामने आने तय हैं। ऐसे में समाजवादी पार्टी के अंदर बिथरी की टिकट को लेकर तगड़ी रस्साकशी नजर आ सकती है। 2017 में बिथरी से सपा की टिकट पर तत्कालीन पार्टी जिलाध्यक्ष वीरपाल सिंह यादव ने चुनाव लड़ा था और 77 हजार से भी अधिक वोट पाकर भाजपा उम्मीदवार से शिकस्त खा बैठे थे। वीरपाल सिंह अब शिवपाल सिंह यादव की पार्टी प्रगतिशील समाजवादी पार्टी लोहिया में है, ऐस में सपा को यहां नए चेहरे की तलाश है। बिथरी से अभी कुछ और चेहरे भी टिकट के लिए आवेदन करने की तैयारी में हैं।
आंवला विधानसभा से लक्ष्मण प्रसाद लोधी ने सपा से मांगा टिकट
समाजवादी पार्टी के अंदर आंवला विधानसभा क्षेत्र से अभी तक नए चेहरे ही टिकट की दावेदारी करते नजर आ रहे हैं। पूर्व महासचिव प्रदीप मौर्या के आवेदन के बाद पार्टी नेता लक्ष्मण प्रसाद लोधी ने भी आंवला से टिकट मांगा है। लक्ष्मण लोधी आंवला तहसील क्षेत्र के गांव लभारी के रहने वाले हैं और सपा पिछडा वर्ग प्रकोष्ठ के जिलाध्यक्ष रह चुके हैं। उन्होंने अपना आवेदन पार्टी प्रदेश कार्यालय में जमा कर दिया है। इसमें उन्होंने अपनी जन्म की तारीख 20 दिसंबर 1963 और शैक्षिक योग्यता स्नातक दर्शाई है। सपा के पूर्व जिलाध्यक्ष शुभलेश यादव भी आंवला से टिकट के प्रबल दावेदार हैं। हालांकि अभी तक शुभलेश यादव ने टिकट के लिए आवेदन नहीं किया है मगर सूत्रों का कहना है कि अंदरखाने वह चुनावी तैयारी में जुटे हैं और जल्द ही अपने पत्ते खोलेंगे। 2017 में आंवला से पूर्व सांसद कुंवर सर्वराज सिंह के पुत्र सिद़धराज सिंह सपा के उम्मीदवार बने थे और करीबी मुकाबले में भाजपा उम्मीदवार धर्मपाल सिंह से पराजित हो गए थे। पार्टी उम्मीदवार की खिलाफत को लेकर उसी चुनाव में पूर्व विधायक महीपाल सिंह यादव को सपा हाईकमान ने निष्कासित भी किया था। हालांकि महीपाल अब फिर सपा में नजर आ रहे हैं।
मीरगंज मेंं सपा के टिकट की लड़ाई दिग्गजों के बीच होने के आसार
सपा में मीरगंज विधानसभा क्षेत्र की टिकट को लेकर अभी से तगड़ी जोर आजमाइश होने के हालात बनते नजर आ रहे हैं। बसपा छोड़ सपा में आए पूर्व विधायक सुल्तान बेग, बरेली कॉलेज छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष व शेरगढ़ की प्रमुखी संभाल रहे भूपेन्द्र कुर्मी के साथ शीशगढ़ चेयरमैन हाजी जाहिद हुसैन गुडडू अपने समीकरणों के साथ मीरगंज से टिकट के लिए नजरें जमाए बैठे हैं। हालांकि अभी इन तीनों ही सूरमाओं में से किसी ने टिकट के लिए विधिवत आवेदन नहीं किया है। भूपेन्द्र कुर्मी और हाजी गुड़डू ने टीम खबरची से बातचीत में कहा है कि वह जल्द ही पार्टी हाईकमान के सामने टिकट के लिए आवेदन करने वाले हैं। सुल्तान बेग, भूपेन्द्र कुर्मी और हाजी गुडडू के राजनैतिक कॅरियर पर नजर डालें तो तीनों ही अपनी-अपनी तरह से टिकट के मजबूत दावेदार हैं।
सुल्तान बेग तीन बार कांवर सीट से विधायक रह चुके हैं। पहले मीरगंज विधानसभा कांवर के नाम से जानी जाती थी। शुरूआत में सपा के विधायक रहे सुल्तान पार्टी छोड़ बसपा में चले गए थे। 2017 में वह बसपा की टिकट पर चुनाव लड़े और भाजपा के डीसी वर्मा के मुकाबले पराजित हो गए थेेे। उस वक्त सुल्तान के छोटे भाई सुलेमान बेग बसपा की टिकट पर भोजीपुरा से चुनाव लड़े थे मगर वह भी पराजित हो गए। सुल्तान बेग ने बाद में सपा ज्वाइन कर ली और तब से पार्टी का झंडा उठा रहे हैं। खास बात ये है कि सुल्तान इस बार जहां मीरगंज से सपा की टिकट के दावेदार हैं, वहीं बरेली शहर की राजनीति में मजबूत नाम बनकर उभर रहे उनके दूसरे भाई डॉॅ. अनीस बेग शहर सीट से पार्टी से टिकट के मजबूत दावेदार माने जा रहे हैं। हालांकि अभी तक इनमें से किसी ने भी टिकट के लिए आवेदन नहीं किया है।
भूपेेेेेन्द्र कर्मी बरेली की युवा राजनीति में उभरता चेहरा हैं। वह 2006 में बरेली कॉलेज के छात्र संघ अध्यक्ष रह चुके हैं। उससे पहले उन्होंने लगातार बहेड़ी ब्लाक के प्रमुख रहे चौधरी जयेन्द्र सिंह को क्षेत्र पंचायत चुनाव में करारी शिकस्त देकर राजनीति में धमाकेदार एंट्री की थी। इसके बाद वह सपा छात्र सभा के जिलाध्यक्ष रहे। 2016 वह शेेेेेेरगढ़ ब्लॉक से प्रमुखी चुनाव लड़ने की तैयारी में थे मगर कहा जाता है कि विरोधी नेताओं ने उनका पैत्रक प्रहलादपुर गांव से वोट कटवा दिया। इस वजह से वह चुनाव नहीं लड़ सका। इसके बाद भी भूपेन्द्र कुर्मी ने हौसला दिखाया और अपनी बहन सुमनलता गंगवार को प्रमुखी का चुनाव लड़ाया और जीत दर्ज कराकर विरोधियों को अपनी ताकत का बखूबी एहसास करा दिया। भूपेन्द्र कुर्मी का कहना है कि वह कुछ दिन में 2022 विधानसभा चुनाव के लिए टिकट को आवेदन करेंगे।
हाजी जाहिद हुसैन गुडडू मीरगंज से सपा की टिकट पर मजबूती से निगाहें जमाए हैं। हाजी गुड़डू 2006 से चुनावी राजनीति में पकड़ बनाए हैं और शीशगढ़ की चेयरमैनी संभाल रहे हैं। 2012 में वह सपा की टिकट से मीरगंज में चुनाव लड़े थे मगर 35700 वोट पाकर पराजित हो गए थे। इसके बाद वह शीशगढ़ के फिर चेयरमैन बने और बरेली निकाय संघ के अध्यक्ष रहे। बरेली-रामपुर एमएलसी चुनाव में सपा ने हाजी गुड़डू को अपना प्रत्याशी घोषित किया था मगर बाद में उनका टिकट काटकर पहले अनिल शर्मा और बाद में घनश्याम लोधी को उम्मीदवार बना दिया गया। 2017 के चुनाव में हाजी गुड़डू मीरगंज से सपा की टिकट के प्रबल दावेदार थे। उनका टिकट घोषित भी हो गया था मगर कांग्रेस से गठबंधन के चलते यह आखिरी वक्त में उन्हें ना कह दिया गया। मीरगंज से कांग्रेस की टिकट पर पूर्व विधायक नरेन्द्र पाल सिंह चुनाव लड़े और लंबे अंतराल से चुनाव हारे। अब हाजी गुड़डू की निगाहें 2022 चुनाव पर है। उन्होंने टीम खबरची को बताया है कि 16 जनवरी तक मीरगंज से टिकट के लिए पार्टी प्रदेश कार्यालय में विधिवत आवेदन कर देंगे।
खबरची ब्यूरो