एटा। यूपी के एटा में प्रशासन ने अलीगंज के पूर्व विधायक रामेश्वर सिंह यादव और उनके अनुज पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष जुगेन्द्र सिंह यादव के परिवार के 20 लोगों के शस्त्र लाइसेंस तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिए हैं। इसमें दो महिलाओं का नाम भी शामिल है। पूर्व विधायक की सुरक्षा में लगे सरकारी गनर को भी हटा दिया गया है। पूर्व विधायक ने इस कार्रवाई को लेकर कहा है कि एटा जिला प्रशासन उनकी व छोटे भाई की हत्या कराना चाहता है। अगर कोई हादसा होता है तो इसका जिम्मेदार जिला प्रशासन होगा।
यहां बता दें कि आपको बता दें आईजीआरएस पोर्टल पर एक शिकायत की गई था, जिसमे कहा गया कि पूर्व विधायक रामेश्वर सिंह यादव, छोटे भाई पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष जुगेंद्र सिंह यादव व उनके अन्य दो भाइयों पर अपराधिक मामले दर्ज हैं। उसी आधार पर एसएसपी एटा सुनील कुमार ने डीएम सुखलाल भारती को रिपोर्ट भेजी थी। रिपोर्ट में थाना जसरथपुर में आपराधिक मामले दर्ज होने और शस्त्र लाइसेंस सत्यापन के रिपोर्ट के आधार पर रिपोर्ट भेजने का जिक्र किया गया। पुलिस रिपोर्ट में कहा गया है कि मामले न्यायालय में विचाराधीन है और कुछ में दोषमुक्त भी हो चुके हैं। ऐसे में उक्त लोगो के पास शस्त्र रहना लोकहित में उचित नही है। उसी आधार पर डीएम एटा ने शासन को अपनी रिपोर्ट भेजी थी। इससे दो दिन पूर्व बीस शस्त्र लाइसेंसों को निलंबित कर सम्बंधित को प्रशासन की ओर से नोटिस जारी कर दिए गए। पूर्व विधायक का गनर भी वापस कर लाया गया। इस मामले में आगे सुनवाई की तारीख जनवरी 2021 तय है।
विधायक ने कहा, राजनैतिक विद्वेष की भावना से एटा प्रशासन ने की गलत कार्रवाई
एटा की अलीगंज सीट से सपा के पूर्व विधायक रामेश्वर सिंह यादव ने कहा है कि प्रशासन ने उनके परिवार के शस्त्र लाइसेंसों के निलंबन और सरकारी सुरक्षा वापस लेने की कार्रवाई राजनैतिक विद्वेष की भावना से की है। पूर्व विधायक ने डीएम और जिला प्रशासन पर हत्या की साजिश रचनेे का भी आरोप लगाया है। उन्होंनेे कहा है कि अगर उनके और परिवार के साथ कुछ भी हादसा होता है तो उसका जिम्मेदार एटा जिला प्रशासन होगा।
खबरची/ सचिन यादव, एटा